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Saturday, April 27, 2024
गणतंत्र दिवस के अवसर पर निकाली गई झांकियों में भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन यानि इसरो की झांकी बेहद आकर्षक नजर आ रही थी इसमें चंद्रयान-3, आदित्य एल-1 जलवा बिखेरते नजर आए। झांकी में इसरो के विभिन्न मिशनों में महिला वैज्ञानिकों की भागीदारी को भी प्रदर्शित किया गया। इस झांकी में लॉन्च व्हीकल मार्क-3 का एक मॉडल पेश किया गया जिसके जरिए चंद्रयान-3 को श्रीहरिकोटा से चंद्रमा तक भेजा गया था। झांकी में अंतरिक्ष यान के चंद्रमा में उतरने के स्थान को भी दर्शाया गया। जैसा की हम सब जानते ही है इस स्थान को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शिव शक्ति प्वाइंट नाम दिया है। इसरो की झांकी में सूरज के अध्ययन के लिए निचली कक्षा में भेजे गए आदित्य एल-1 को भी प्रदर्शित किया गया। इसके अलावा इसरो के भविष्य के मिशन गगनयान और भारतीय अंतरिक्ष स्टेशन आदि को भी झांकी में स्थान दिया गया। झांकी में प्राचीन खगोलविद और आर्यभट्ट व वराहमिहिर जैसे अंतरिक्ष क्षेत्र के अग्रदूतों को भी दर्शाया गया है। हल्ला बोल एक्सप्रेस https://www.hallabolexpress.com/
गणतंत्र दिवस के अवसर पर निकाली गई झांकियों में भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन यानि इसरो की झांकी बेहद आकर्षक नजर आ रही थी इसमें चंद्रयान-3, आदित्य एल-1 जलवा बिखेरते नजर आए। झांकी में इसरो के विभिन्न मिशनों में महिला वैज्ञानिकों की भागीदारी को भी प्रदर्शित किया गया।
इस झांकी में लॉन्च व्हीकल मार्क-3 का एक मॉडल पेश किया गया जिसके जरिए चंद्रयान-3 को श्रीहरिकोटा से चंद्रमा तक भेजा गया था। झांकी में अंतरिक्ष यान के चंद्रमा में उतरने के स्थान को भी दर्शाया गया।
जैसा की हम सब जानते ही है इस स्थान को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शिव शक्ति प्वाइंट नाम दिया है।
इसरो की झांकी में सूरज के अध्ययन के लिए निचली कक्षा में भेजे गए आदित्य एल-1 को भी प्रदर्शित किया गया। इसके अलावा इसरो के भविष्य के मिशन गगनयान और भारतीय अंतरिक्ष स्टेशन आदि को भी झांकी में स्थान दिया गया। झांकी में प्राचीन खगोलविद और आर्यभट्ट व वराहमिहिर जैसे अंतरिक्ष क्षेत्र के अग्रदूतों को भी दर्शाया गया है।
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